Bihar Land Survey: जमाबंदियों को दुरुस्त करने के लिए विशेष अभियान, 15 मार्च तक करा लें ये काम
Bihar Land Survey: जमाबंदियों को दुरुस्त करने के लिए विशेष अभियान, 15 मार्च तक करा लें ये काम
बिहार में जमाबंदियों के डिजिटाइजेशन एवं उसे त्रुटिरहित करने के लिए 15 मार्च तक विशेष अभियान चलेगा। इसके तहत शिविर लगाकर जमाबंदियों को युद्ध स्तर पर दुरुस्त किया जाएगा। राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने विशेष अभियान शुरू भी कर दिया है। शुक्रवार को मिली जानकारी के अनुसार राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के सचिव जय सिंह ने इसको लेकर सभी समाहर्ताओं को निर्देश जारी किया है। इसके मुताबिक राजस्व कर्मचारियों द्वारा हरेक मौजा की मूल जमाबंदी की स्कैंड और ऑनलाइन प्रति से मिलान किया जाएगा।
जहां जमाबंदी स्कैंड नहीं हो सकी है, वहां मूल प्रति से मिलान करने के बाद सभी भागों सहित पृष्ठवार सुधार किया जाएगा। कर्मचारियों को दिए गए निर्देश के अनुसार मूल जमाबंदी में दर्ज रैयत या भूमि संबंधी विवरण को हू-ब-हू ऑनलाइन किया जाना है। किसी भी स्थिति में मूल जमाबंदी में अंकित आकड़ों के अतिरिक्त कोई अन्य प्रविष्टि या सुधार या मूल जमाबंदी में किसी प्रकार की छेड़छाड़ नहीं करना है।
सभी मौजा की सभी जमाबंदी को डिजिटाइज या उसके आधार पर ऑनलाइन जमाबंदी में सुधार मौजावार करना है। जमाबंदी में सुधार के लिए ई-जमाबंदी मॉड्यूल का इस्तेमाल होगा। विभाग के अनुसार शिविर का आयोजन समाहर्ता के निर्देशन में होगा। हल्का कर्मचारी को अपने हल्के के सभी मौजों में सुधार की जिम्मेदारी दी गई है। जो उनको उपलब्ध कराए गए लैपटॉप के जरिए किया जाएगा। शिविर की संख्या तथा शिविर का अंचल, हल्का या मौजा के साथ संबंद्धता का निर्णय जिला स्तर से किया जाएगा।
मालूम हो कि जमाबंदी के जरिए भूमि का अंतरण पता चलता है। वर्ष 2017 में सबसे पहले सभी सदर अंचलों में ऑनलाइन जमाबंदी शुरू की गई थी। अक्टूबर, 2018 में पूरे बिहार के सभी अंचलों में इसे लागू कर दिया गया था। उस दौरान कई प्रकार की त्रुटियां रह गई थीं। वर्तमान में विभाग की कवायद उन्हीं छूटी हुई और गलत ऑनलाइन जमाबंदी में सुधार से संबंधित है। वर्तमान में 4.39 करोड़ जमाबंदियों को ऑनलाइन किया जा चुका है।
हालांकि विभाग द्वारा परिमार्जन एवं परिमार्जन प्लस पोर्टल के जरिए जमाबंदियों में त्रुटियों का निराकरण किया गया है लेकिन अभी भी बड़ी संख्या में त्रुटियों से संबंधित शिकायत पत्र दिए जा रहे हैं। इसलिए यह कार्रवाई की है। राजस्व मंत्री दिलीप जायसवाल ने बताया किऑनलाइन जमाबंदियों को जल्द त्रुटिरहित किया जाना है। साथ ही भूमि सर्वे एवं बंदोबस्त कार्यक्रम में जमाबंदियों को परिमार्जित और डिजिटाइज्ड होना जरूरी है। डिजिटली हस्ताक्षरित अधिकार अभिलेख देने की गुणवत्ता भी इससे जुड़ी हुई है।
राजस्व कर्मचारी और सीओ को सुधार का जिम्मा
विभागीय सचिव जय सिंह द्वारा समाहर्ताओं को लिखे गए पत्र के अनुसार पूर्व में अगर परिमार्जन, परिमार्जन प्लस, दाखिल-खारिज या स्वत: संज्ञान होने पर अंचल अधिकारी द्वारा ऑनलाइन जमाबंदी में सुधार किया जा चुका है तो मूल जमाबंदी से मिलान करते समय वैसी जमाबंदी में संशोधन नहीं करना है। इस कार्य की निगरानी सभी वरीय पदाधिकार करेंगे। जमाबंदी में सुधार की पूरी जिम्मेदारी राजस्व कर्मचारी एवं अंचल अधिकारी की होगी। भूमि सुधार उप समाहर्ताओं द्वारा आवश्यक सहयोग एवं निरीक्षण किया जाएगा।
Source – Hindustan