परिपक्वता की परिभाषा दीजिए एवं अधिगम से इसके सम्बन्ध को बताइये ।

परिपक्वता की परिभाषा दीजिए एवं अधिगम से इसके सम्बन्ध को बताइये ।

उत्तर— परिपक्वता का अर्थ – जब बच्चे अपनी आयु के अनुसार अपने से बड़े लोगों की आशाओं के अनुरूप उपयुक्त कार्य करते हैं तो वे परिपक्व कहलाते हैं । अर्थात् जब बालक निश्चित मानकों एवं प्रौढ़ों की आशाओं के अनुरूप ऐसे आचरण करते हैं जो उनकी आयु के अनुसार उपयुक्त होते हैं तो वह परिपक्वता की स्थिति होती है। परिपक्वता के अर्थ को स्पष्ट करने की दृष्टि से हमें निम्न परिभाषाओं का अध्ययन करना चाहिये—
बोरिंग लैंग फील्ड व वेल्ड के अनुसार, “परिपक्वता अभिवृद्धि व विकास की वह स्थिति है जो किसी व्यवहार के अधिगम हेतु आवश्यकत है। “
एजेक्जेन्डर के अनुसार, “परिपक्वता मूलतः आंतरिक संशोधन की प्रक्रिया है । “
जरशील्ड तथा साथियों के अनुसार, “परिपक्वता वह प्रक्रिया है जो प्राणी में क्रियात्मक तत्परता उत्पन्न करने की क्षमता करती है । इस प्रक्रिया में अभिवृद्धि तथा विकास के कारण हो रहे शारीरिक-मानसिक परिवर्तन भी सम्मिलित हैं। “
परिपक्वता व अधिगम में सम्बन्ध—
अधिगम—
1. अधिगम व्यवहार संशोधन है।
2. अधिगम का आधार परिपक्वता है।
3. अधिगम अर्जित है।
4. अधिगम के लिये बाह्य उत्तेजनाओं की आवश्यकता होती है और व्यक्ति को प्रयत्न करना पड़ता है।
5. अधिगम में विभिन्न क्रिया – प्रतिक्रिया होती है ।
परिपक्वता—
1. परिपक्वता भी व्यवहार संशोधन है।
2. परिपक्वता स्वाभाविक प्रक्रिया हैं ।
3. परिपक्वता जन्मजात जैवीय प्रकिया है।
4. परिपक्वता के लिये बाह्य उत्तेजनाओं की आवश्यकता नहीं होती । व्यक्ति को प्रयत्न ही नहीं करना पड़ता।
5. परिपक्वता का क्रम निश्चित होता है।
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