19वीं शताब्दी में भारत में प्रेस के विकास को रेखांकित करें।

19वीं शताब्दी में भारत में प्रेस के विकास को रेखांकित करें।

उत्तर ⇒ 19वीं शताब्दी में प्रेस ज्वलंत राजनीतिक एवं सामाजिक प्रश्नों को उठानेवाला एक सशक्त माध्यम बन गया ।
आधुनिक भारतीय प्रेस का आरंभ 1766 में विलियम बोल्टस द्वारा प्रकाशित समाचार-पत्र से माना जाता है। 1780 में जेम्स आगस्टस हिक्की ने अंग्रेजी भाषा में ‘बंगाल गजट’ नामक पत्रिका का प्रकाशन आरंभ किया। हिक्की के प्रेस को कंपनी ने जब्त कर लिया। नवम्बर, 1780 में प्रकाशित ‘इंडिया गजट’ दूसरा भारतीय पत्र था।
भारतीयों द्वारा प्रकाशित प्रथम समाचार-पत्र 1816 में गंगाधर भट्टाचार्य का साप्ताहिक ‘बंगाल गजट’ था।
1821 में बंगाली में संवाद कौमुदी तथा 1822 में फारसी में प्रकाशित मिरातुल अखबार के साथ प्रगतिशील राष्ट्रीय प्रवृत्ति के समाचार-पत्रों का प्रकाशन आरंभ हुआ। इन समाचार पत्रों के संस्थापक राममोहन राय थे जो अंग्रेजी में ब्राझिनिकल मैंगजीन भी निकाला। 1822 में बंबई से गुजराती भाषा में दैनिक बंबई समाचार निकलने लगे। द्वारकानाथ टैगोर, प्रसन्न कुमार टैगोर तथा राममोहन राय के प्रयास से 1830 में बंगदत्त की स्थापना हुई। 1831 में जामे जमशेद, 1851 में गोफ्तार तथा अखबारें सौदागर का प्रकाशन आरंभ हुआ। ईस्ट इंडिया कंपनी के अधिकारी भारतीय समाचार-पत्रों द्वारा सामाजिक, धार्मिक और राजनीतिक चेतना के विकास को शंका की दृष्टि से देखते थे। इसलिए 19वीं शताब्दी में भारतीय प्रेस को प्रतिबंधित करने का कुत्सित प्रयास किया।

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